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संभल के जामा मस्जिद में सर्वे के लिए पहुंची टीम के बाद गुस्साए स्थानीय लोगों ने पुलिस पर पथराव कर दिया, जिससे वहां तनाव फैल गया. करीब ढाई घंटे तक मस्जिद के अंदर सर्वे करने के बाद पुलिस ने भारी सुरक्षा के बीच सर्वे टीम को दूसरे रास्ते से वहां से निकाला. सर्वे करने पहुंची टीम में अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन भी शामिल थे.
सर्वे का काम ढाई घंटे तक चला
पथराव के बाद स्थिति को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को आंसू गैस के गोले दागने पड़े और सर्वे टीम को दूसरे रास्ते से निकाला गया. हालाँकि, जिस गली से उन्हें बाहर लाया जा रहा था, वहाँ कुछ लोग नारे लगाते दिखे।
साढ़े सात बजे से 10 बजे तक चले इस सर्वे के बाद एडवोकेट कमिश्नर का सर्वे पूरा हुआ। पूरे सर्वे की वीडियोग्राफी और फोटोग्राफी कराई गई है. अब इस केस के मुख्य वकील विष्णु शंकर जैन के नेतृत्व में एडवोकेट कमिश्नर 29 नवंबर को अपनी रिपोर्ट देंगे.
मंदिर तोड़कर मस्जिद बनाने का दावा
इस रिपोर्ट में बताया जाएगा कि सर्वे के दौरान वहां क्या मिला. आपको बता दें कि इस मस्जिद के मुगल काल के दौरान एक प्राचीन हिंदू मंदिर होने का दावा किए जाने के बाद कोर्ट के आदेश पर दूसरी बार वरिष्ठ वकील विष्णु शंकर जैन के नेतृत्व में टीम जामा मस्जिद के अंदर गई थी. सर्वे करने के लिए।
अंदर सर्वे, बाहर पुलिस तैनात
जैसे ही टीम वहां सर्वे करने पहुंची तो भीड़ ने पुलिस पर पथराव शुरू कर दिया और हाथापाई भी हुई. इस घटना का एक वीडियो भी सामने आया है जिसमें दिख रहा है कि पुलिस और एसपी हेलमेट पहने नजर आ रहे हैं.
इससे पहले 19 नवंबर को संभल जिले के चंदौसी स्थित सिविल जज सीनियर डिवीजन आदित्य सिंह की अदालत ने एडवोकेट कमिश्नर को जामा मस्जिद के सर्वे का आदेश दिया था। इसके बाद एडवोकेट कमिश्नर की टीम दोबारा जामा मस्जिद का सर्वे करने संभल पहुंची थी।